पंचकूला। बिजली की खपत को कम करने के लिए एचएसवीपी ने जिले में सोलर लाइटें लगाने का फैसला किया है। इस योजना पर शुरुआत में नौ करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। शहर के सेक्टर-5 में लाइटें लगा भी दी गई हैं। योजना की शुरुआत में एचएसवीपी की हद में आने वाले शहर के सेक्टर और पिंजौर का चयन किया गया है। दोनों जगह 1151 लाइटें लगाई जाएंगी। इससे एचएसवीपी को हर साल करीब 30 लाख रुपये की बचत होगी।
रात के समय रोशनी के लिए शहर की सड़कों पर स्ट्रीट लाइट लगाई गई हैं। एचएसवीपी की ओर से संचालित इन लाइटों का बिल हर महीने लाखों रुपये में आता है। इससे निजात पाने के लिए एचएसवीपी ने सोलर लाइट लगाने का फैसला किया। ये लाइट 75 वाट की हैं और इनकी मेंटेनेंस भी न के बराबर है। इसके लिए एचएसवीपी ने टेंडर जारी कर दिया है और इन्हें लगाने का काम भी शुरू हो गया है। बता दें कि अकेले सेक्टर-5 का हर महीने करीब एक लाख बिजली का बिल आता है। इसके अलावा मेंटेनेंस का खर्च अलग होता है।
सिंगल और डबल प्वाइंट की लाइटें शामिल
जिले में लगाई जाने वाली लाइटें सिंगल और डबल प्वाइंट की हैं। जिन सड़कों के बीच में डिवाइडर है वहां पर डबल प्वाइंट की लाइट लगाई गई हैं जो दोनों ओर रोशनी करती हैं। वहीं जो सड़क संकरी हैं उन पर सिंगल प्वाइंट की लाइटें लगाई जा रही हैं। शुरुआत में एचएसवीपी ने 886 डबल प्वाइंट और 625 सिंगल प्वाइंट की सोलर लाइट लगाने का टेंडर दिया गया है।
पिंजौर के अमरावती और डीएलफ में भी लगेंगी लाइट
शहर के सेक्टर-5 के अलावा पिंजौर के अमरावती, डीएलफ और आसपास के क्षेत्र में ये लाइटें लगाई जाएंगी। अगर अधिकारियों की मानें तो इन लाइटों में जल्दी से कोई खराबी नहीं आती है। प्राधिकरण के अधिकारियों के अनुसार सिंगल प्वाइंट की लाइट की लागत करीब 19 हजार रुपये की और डबल प्वाइंट की लाइट की लागत करीब 37 हजार रुपये है।
हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के क्षेत्र में सोलर लाइटें लगाई जा रही हैं। इससे बिजली की खपत तो कम होगी ही साथ ही इनकी मेंटेनेंस का खर्च बहुत ही कम है। इससे प्राधिकरण को सालाना करीब 30 लाख रुपये की बचत हो जाएगी। अगर ये सफल होती हैं तो इनको और विस्तार दिया जाएगा। - अशोक कुमार राणा, एक्सईएन इलेक्ट्रिकल, एचएसवीपी