पीलीभीत। मौसम के करवट लेते ही ठंड का असर बढ़ने लगा है। बदलता मौसम बुजुर्गों व बच्चों के लिए खतरनाक है। शरीर के तापमान में गिरावट और विटामिन डी की कमी स्वास्थ्य के लिए जानलेवा हो सकती है। ठंड शुरू होते ही खून में गाढ़ापन बढ़ने से हृदय के मरीजों के लिए जोखिम भी बढ़ जाता है। ऐसे में डॉक्टरों ने विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी है।
जिला अस्पताल के वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. रमाकांत सागर का कहना है कि ठंडा मौसम तनाव को बढ़ाता है। खासतौर पर उम्रदराज लोगों में तनाव और उच्च रक्तचाप (बीपी) बढ़ जाता है। अवसाद से ग्रस्त लोगों को अत्यधिक चीनी, तला-भुना खाना और सोडियम वाली खाने की चीजों से परहेज करना चाहिए। यह शुगर और बीपी के मरीजों के लिए खतरनाक हो सकता है। तापमान कम होने से खून का थक्का जमने की समस्या बढ़ जाती है, क्योंकि ब्लड प्लेटलेट्स ज्यादा सक्रिय हो जाती हैं। ठंड की वजह से दिल की धमनियां ज्यादा सिकुड़ जाती हैं। इससे रक्त व ऑक्सीजन का बहाव दिल की ओर कम हो जाता है, इससे रक्तचाप बढ़ जाता है। यह हृदय के मरीजों के लिए खतरनाक स्थिति होती है। ऐसे में लोगों को ठंड में विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। ठंड में आमतौर पर स्वस्थ लोगों को गर्म चीजों का इस्तेमाल अधिक करना चाहिए। ठंड के बचाव के लिए गर्म कपड़े पहनने में कोई लापरवाही नहीं करनी चाहिए।
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कोलेस्ट्रॉल का रखें ध्यान, बेचैनी बढ़ने पर डॉक्टर से करे परामर्श
डॉक्टरों का कहना है कि ज्यादा कोलेस्ट्रॉल से दिल के दौरे का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा सीने में हल्की सी भी बेचैनी, पसीने, जबड़े, गर्दन, बाजू व कंधे में दर्द, सांस का टूटना आदि समस्याएं बढ़ जाती है। इसको नजरअंदाज न करें। इन लक्षणों के दिखते ही डॉक्टर से परामर्श कर इलाज कराएं।
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ठंडे मौसम में सुबह जल्दी टहलने से बचें
अत्यधिक व्यायाम से दिल पर दबाव पड़ता है। जिससे थकान आती है। सार्दियों में व्यायाम करते समय ध्यान रखने की जरूरत है। थोड़ा-थोड़ा आराम करते रहें ताकि चलते वक्त अचानक थकान महसूस न हो। इसके अलावा रोजाना धूप में बैठें और व्यायाम करें। हृदय के मरीज अत्यधिक ठंडे मौसम में सुबह जल्दी टहलने न जाएं, बल्कि सूर्य निकलने के बाद ही टहलें। यह उनके लिए लाभदायक होगा।
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क्या करें
- अक्सर ठंड और ठंडे पानी की वजह से लोग नहाने में जल्दबाजी करते हैं। इससे दिक्कत हो सकती है। इससे दिल की धड़कन बढ़ सकती है। नहाने से पहले बाथरूम को भी हीटर लगाकर गर्म कर लें और नहाने में हड़बड़ी न करें।
- सर्दियों में दिल के मरीज धूप निकलने पर ही सैर के लिए जाएं।
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क्या न करें
- सुबह और शाम के समय जब ज्यादा ठंड हो या बादल छाए हों हृदय के मरीज बाहर न जाएं
- सीने में ठंडी हवा न लगने दें, खासकर सुबह के समय क्योंकि छाती में इससे हृदय की नाड़ियों या धमनियों के सिंक करने का खतरा रहता है।
- तड़के या देर रात को खुले में सैर न करें।