Hindi News
›
Delhi
›
Delhi NCR News
›
delhi high court registry last year only has pointed lapse in rohini court security forced on increasing security
{"_id":"614f12d58ebc3effe35c86a3","slug":"delhi-high-court-registry-last-year-only-has-pointed-lapse-in-rohini-court-security-forced-on-increasing-security","type":"story","status":"publish","title_hn":"दिल्ली: हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने पिछले वर्ष सितंबर में ही रोहिणी कोर्ट में बताई थी सुरक्षा खामी, पुलिस की तैनाती बढ़ाने पर दिया था जोर","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
दिल्ली: हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने पिछले वर्ष सितंबर में ही रोहिणी कोर्ट में बताई थी सुरक्षा खामी, पुलिस की तैनाती बढ़ाने पर दिया था जोर
अमर उजाला नेटवर्क, नई दिल्ली
Published by: पूजा त्रिपाठी
Updated Sat, 25 Sep 2021 05:45 PM IST
सार
लेटेस्ट अपडेट्स के लिए फॉलो करें
हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने हाईकोर्ट के समक्ष सात जिला अदालतों में सुरक्षा बढ़ाने की मांग वाली याचिका के संबंध में यह जवाब दायर किया था। यह मामला रोहिणी अदालत के बिल्डिंग मैंटेनेंस कमेटी ने उठाया था और कमेटी ने सीसीटीवी कैमरे लगाने की मंजूरी दे दी थी।
दिल्ली की जिला अदालतों की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर समय-समय पर हाईकोर्ट में याचिका दायर होती रही है। ऐसे ही एक मामले में पिछले साल सितंबर में हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने भी अदालत को बताया था कि सुरक्षा की बढ़ती जरूरत के चलते रोहिणी कोर्ट परिसर में पुलिस की तैनाती बढ़ाने की जरूरत है। इतना ही नहीं कोर्ट परिसर में पर्याप्त संख्या में कैमरे लगाने की जरूरत है। यह मामला अभी लंबित है और कैमरों की संख्या बढ़ाने का प्रस्ताव दिल्ली सरकार के पास लंबित है। हाईकोर्ट ने मामले में चिंताई है और संभवत: इस याचिका पर सोमवार को सुनवाई होगी।
हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने हाईकोर्ट के समक्ष सात जिला अदालतों में सुरक्षा बढ़ाने की मांग वाली याचिका के संबंध में यह जवाब दायर किया था। यह मामला रोहिणी अदालत के बिल्डिंग मैंटेनेंस कमेटी ने उठाया था और कमेटी ने सीसीटीवी कैमरे लगाने की मंजूरी दे दी थी। यह मामला दिल्ली सरकार की प्रशासनिक मंजूरी और वित्तीय मंजूरी के लिए भेजा गया था। यह सरकार के पास अभी भी लंबित है और इस संबंध में बार-बार रिमाइंडर भेजने के बावजूद अभी तक सरकार का कोई जवाब नहीं आया।
4 सितंबर को दायर हुआ था हलफनामा
यह हलफनामा 4 सितंबर, 2020 को दायर किया गया था, जिसमें पिछली कई घटनाओं का हवाला देते हुए अदालतों के लिए पर्याप्त सुरक्षा उपायों की मांग वाली जनहित याचिका के जवाब में दायर किया गया था। कुंवर गंगेश सिंह की ओर से दायर याचिका में पिछले कुछ वर्षों में देखी गई घटनाओं को कम करने के लिए दिल्ली भर में विभिन्न जिला अदालतों की सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश देने की मांग की गई थी।
अधिवक्ता ऋचा सिंह के माध्यम से दायर याचिका में इसे लागू करने के साथ-साथ सख्त नियम और नियमन की भी मांग की गई थी, जिसमें कहा गया था कि अदालत परिसर में मौजूद सभी लोगों की सुरक्षा के लिए यह जरूरी है कि सुरक्षा तंत्र को सुप्रीम कोर्ट और दिल्ली उच्च न्यायालय के समकक्ष लाया जाए। याचिका के जवाब में दिल्ली हाईकोर्ट रजिस्ट्री ने कहा था कि सात जिला अदालतों में से सिर्फ द्वारका में ही हाईकोर्ट की तरह पास सिस्टम था। बाकी अदालतों में यह मामला अभी विचाराधीन था।
फिलहाल यह मामला उच्च न्यायालय में लंबित है क्योंकि कोविड-19 महामारी के मद्देनजर केवल अत्यावश्यक मामलों की सुनवाई की जा रही है। शुक्रवार की घटना के तुरंत बाद वकीलों ने कहा कि वे अपनी सुरक्षा के लिए डरे हुए हैं दिल्ली हाई कोर्ट में न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद से पुलिस कमिश्नर को नोटिस जारी कर जवाब मांगने का आग्रह किया। जस्टिस प्रसाद ने मामले पर चिंता जताते हुए कहा हमें हाईकोर्ट के नाते पहले यह सुनिश्चित करना होगा कि चीजें सही हों। संभव: वे मामले पर सोमवार को सुनवाई करेंगे।
विज्ञापन
विज्ञापन
रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे| Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.
विज्ञापन
विज्ञापन
एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें
Disclaimer
हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर और व्यक्तिगत अनुभव प्रदान कर सकें और लक्षित विज्ञापन पेश कर सकें। अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्यक्तिगत डाटा हटा या एक्सपोर्ट कर सकते हैं। हमारी Cookies Policy, Privacy Policy और Terms & Conditions के बारे में पढ़ें और अपनी सहमति देने के लिए Agree पर क्लिक करें।