दिल्ली से बच्चा चोरी कर उसे बेचने वाले गिरोह की छानबीन में पुलिस ने इस बात का खुलासा किया है कि गरीब लोगों से बच्चा खरीदकर अलवर के व्यक्ति को बेचा जाता था। जो नट समुदाय के लोगों खेल-तमाशा सिखाने व बाद में उसे मोटी रकम कमाने के लिए उसकी परवरिश करते थे। इतना ही नहीं अगर बच्ची होती थी उसे पाल-पोष कर बड़ा करते थे। बाद में उसे शादी के लिए बेच देते थे। डीएलएफ थाना पुलिस इस मामले में फरार चल रहे आरोपियों की तलाश में छापा मारी कर रही है।
एसीपी प्रीतपाल सागवान के अनुसार पुलिस ने इस मामले में अब तक 11 लोगों को गिरफ्तार किया है। जिसमें से दो आरोपी पुलिस रिमांड पर चल रहे हैं। पुलिस टीम ने जिन नौ लोगों को गिरफ्तार किया उनमें सात लोग ऐसे हैं जिनका दिल्ली से राजस्थान तक बच्चे को पहुंचाने का काम था। दो लोग ऐसे हैं जिन्होंने रुपयों की लालच में अपनी बच्ची को बेचा था।
ड्राइवर की सूझबूझ से पकड़े गए अपराधी
डीएलएफ फेज तीन की पुलिस को नाथूपुर गांव में रहने वाले कैब चालक ने तीन महिला व एक पुरुष व दो बच्ची साथ गिरफ्तार करवाया था। छानबीन के बाद पुलिस ने खुलासा किया था कि गिरोह के लोग इन दोनों बच्चियों को बेचने के लिए अलवर लेकर जा रहे थे। रास्ते में डील निरस्त होने पर वापस लौटे थे। उसी समय चालक को संदेह हुआ।
जिसके बाद उन्हें गुमराह कर डीएलएफ फेज तीन थाने लेकर पहुंचा था। पुलिस ने इस मामले में अब तक नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। जिनमें दिल्ली निवासी कुलवंत व अलवर निवासी अनिल अभी भी चार दिन की पुलिस रिमांड पर चल रहे हैं।
पुलिस की अब तक की छानबीन में खुलासा हुआ है कि जिन लोगों ने बच्चा बेचा है । वह पैसे की लालच में ऐसा करते थे। बच्चों को खरीदने वाले नट जाति से हैं जो लड़कों को कलाबाजी सिखाते हैं और बेटी को शादी के लिए बेचते थे। इस मामले में छानबीन चल रही है। जल्द ही मुख्य आरोपी को गिरफ्तार किया जाएगा।-प्रीतपाल , सागवान, एसीपी क्राइम, गुरुग्राम
विस्तार
दिल्ली से बच्चा चोरी कर उसे बेचने वाले गिरोह की छानबीन में पुलिस ने इस बात का खुलासा किया है कि गरीब लोगों से बच्चा खरीदकर अलवर के व्यक्ति को बेचा जाता था। जो नट समुदाय के लोगों खेल-तमाशा सिखाने व बाद में उसे मोटी रकम कमाने के लिए उसकी परवरिश करते थे। इतना ही नहीं अगर बच्ची होती थी उसे पाल-पोष कर बड़ा करते थे। बाद में उसे शादी के लिए बेच देते थे। डीएलएफ थाना पुलिस इस मामले में फरार चल रहे आरोपियों की तलाश में छापा मारी कर रही है।
एसीपी प्रीतपाल सागवान के अनुसार पुलिस ने इस मामले में अब तक 11 लोगों को गिरफ्तार किया है। जिसमें से दो आरोपी पुलिस रिमांड पर चल रहे हैं। पुलिस टीम ने जिन नौ लोगों को गिरफ्तार किया उनमें सात लोग ऐसे हैं जिनका दिल्ली से राजस्थान तक बच्चे को पहुंचाने का काम था। दो लोग ऐसे हैं जिन्होंने रुपयों की लालच में अपनी बच्ची को बेचा था।
ड्राइवर की सूझबूझ से पकड़े गए अपराधी
डीएलएफ फेज तीन की पुलिस को नाथूपुर गांव में रहने वाले कैब चालक ने तीन महिला व एक पुरुष व दो बच्ची साथ गिरफ्तार करवाया था। छानबीन के बाद पुलिस ने खुलासा किया था कि गिरोह के लोग इन दोनों बच्चियों को बेचने के लिए अलवर लेकर जा रहे थे। रास्ते में डील निरस्त होने पर वापस लौटे थे। उसी समय चालक को संदेह हुआ।
जिसके बाद उन्हें गुमराह कर डीएलएफ फेज तीन थाने लेकर पहुंचा था। पुलिस ने इस मामले में अब तक नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। जिनमें दिल्ली निवासी कुलवंत व अलवर निवासी अनिल अभी भी चार दिन की पुलिस रिमांड पर चल रहे हैं।
पुलिस की अब तक की छानबीन में खुलासा हुआ है कि जिन लोगों ने बच्चा बेचा है । वह पैसे की लालच में ऐसा करते थे। बच्चों को खरीदने वाले नट जाति से हैं जो लड़कों को कलाबाजी सिखाते हैं और बेटी को शादी के लिए बेचते थे। इस मामले में छानबीन चल रही है। जल्द ही मुख्य आरोपी को गिरफ्तार किया जाएगा।-प्रीतपाल , सागवान, एसीपी क्राइम, गुरुग्राम