कोरोना वायरस के केस फिर से बढ़ने लगे हैं। विशेषज्ञ इसे कोरोना की चौथी लहर मान रहे हैं। कई विशेषज्ञों का दावा है कि कोरोना की चौथी लहर अगस्त महीने तक पीक पर आ सकती है। चिंता की बात यह है कि कोरोना की चौथी लहर सबसे ज्यादा बच्चों के लिए खतरनाक है। इस बार बच्चों में संक्रमण बढ़ रहा है। ऐसे में बच्चों को कोरोना की चौथी लहर और संक्रमण से बचाना एक बड़ी चुनौती है। विशेषज्ञों ने कोरोना की दूसरी और तीसरी लहर की तुलना में चौथी लहर को इतना डरावना और घातक नहीं माना है। इस बार कोरोना के दो नए वेरिएंट का पता चला है। एक ओमिक्रॉन एक्स ई और दूसरा बीए 2 वेरिएंट चौथी लहर में अपना प्रकोप दिखा रहे हैं। ओमिक्रॉन एक्स ई और बीए 2 वेरिएंट को कोरोना वायरस का ज्यादा संक्रमित प्रारूप माना गया है। चलिए जानते हैं कोरोना वायरस के ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट के लक्षण, प्रभाव और बचाव के उपायों के बारे में।
ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट क्या है
भारत में ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट के मामले मिले हैं। डब्ल्यूएचओ के मुताबिक, एक्स ई वेरिएंट ओमिक्रॉन वेरिएंट के दो स्ट्रेंस का हाइब्रिड है। बीए 1 और बीए 2 से मिलकर बने वेरिएंट को ओमीक्रान एक्स ई वेरिएंट कहा गया। इसे पहले वाले वेरिएंट से ज्यादा ताकतवर बताया गया रहा है। रिसर्च में पता चला है कि ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट ओमिक्रॉन की तुलना में 10 प्रतिशत अधिक संक्रामक है।
ओमिक्रॉन एक्स ई का खतरा सबसे ज्यादा किसे?
चौथी लहर में कोरोना के वेरिएंट का सबसे ज्यादा खतरा बच्चों को है। भारत में टीकाकरण अभियान और बूस्टर डोज अभियान जारी है। अधिकतर लोगों का वैक्सीनेशन हो गया है। लेकिन बच्चों का टीकाकरण न होने से उनकी इम्यूनिटी कमजोर हो सकती है। जिसके कारण संक्रमण का शिकार बच्चे हो सकते हैं। बच्चों को कोरोना के इस नए वेरिएंट से सुरक्षित रखने की जरूरत है।
ओमिक्रॉन एक्स ई के लक्षण
ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट के लक्षणों के बारे में जान कर समय रहते आप इसका इलाज करा सकते हैं, ताकि संक्रमण का प्रसार होने से रोका जा सके और सही समय पर उपचार मिल सके। ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट के लक्षणों में सबसे ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है मरीज को बुखार आना, गले में खराश, खांसी और सर्दी, त्वचा में जलन और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल डिस्ट्रेस की समस्या पर। ये रहे ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट के लक्षण-
- सामान्य से अलग खांसी आना और सर्दी होना।
-रुक-रुक कर तेज सिरदर्द होना।
-गला जाम हो जाना, बोलने में दिक्कत आना।
-अचानक शरीर में दर्द होने लगना।
-बेचैनी और घबराहट होना।
ओमिक्रॉन एक्स ई से बचाव
-चौथी लहर के इस अधिक संक्रामक ओमिक्रॉन एक्स ई वेरिएंट से सबसे ज्यादा बच्चों को बचाना है। इसके लिए विशेषज्ञों ने अभिभावकों को सलाह दी है कि वह ये सुनिश्चित करें कि उनके बच्चे स्वस्थ जीवन शैली अपनाएं। सोने, खाने का एक निर्धारित समय तय हो, जिससे उनकी सेहत में लाभ हो सके और इम्यूनिटी मजबूत बने।
-जो बच्चे टीकाकरण के लिए पात्र हैं, उनका जल्द से जल्द वैक्सीनेशन कर दिया जाए।
-स्कूल में बच्चों की स्वच्छता और सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखा जाए।