बुलंदशहर में गोहत्या के विरोध में भारी बवाल हो गया है। इसमें एटा के रहने वाले इंस्पेक्टर सुबोध कुमार की मौत हो गई है। जैसे ही इसकी सूचना मिली, उनके पैतृक गांव में शोक की लहर दौड़ गई है। सुबोध कुमार वृंदावन कोतवाली में भी तैनात रहे। उन्होंने हमेशा गोकशी के खिलाफ कड़ी रुख अपनाया।
बुलंदशहर बवाल: तीन माह पहले ही हुआ था इंस्पेक्टर सुबोध कुमार का तबादला, भीड़ ने ले ली जान
थाना जैथरा के गांव तरगवा निवासी सुबोध कुमार पुत्र राम प्रकाश बुलंदशहर के स्याना कोतवाली में तैनात थे। सोमवार को गोहत्या के विरोध में हुए बवाल में उनकी मौत हो गई है। बताया जा रहा है उनको गोली लगी है।
बुलंदशहर बवाल: तीन माह पहले ही हुआ था इंस्पेक्टर सुबोध कुमार का तबादला, भीड़ ने ले ली जान
बुलंदशहर के चिंगारवटी में भीड़ के गुस्से के बाद गोली लगने से शहीद हुए स्याना थाना प्रभारी सुबोध कुमार सिंह ने वृंदावन में भी अपनी सेवाएं दीं। कानून व्यवस्था कायम रखने को लेकर उनमें खासा संजीदगी थी। गोकशी के मामले में शहीद हुए एसएचओ ने वृंदावन कोतवाली प्रभारी रहते हुए भी गो तस्करों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया।
बुलंदशहर बवाल: तीन माह पहले ही हुआ था इंस्पेक्टर सुबोध कुमार का तबादला, भीड़ ने ले ली जान
पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध कुमार का मकान गाजियाबाद के पल्लवपुरम फेस वन में है। हालांकि वो यहां नहीं रहते हैं। उनका हाल पता नोएडा सेक्टर 42 है। वो अपनी पत्नी के साथ रहते थे। उनके दो बेटे हैं। दोनों नोएडा में पढ़ते हैं।
बुलंदशहर बवाल: तीन माह पहले ही हुआ था इंस्पेक्टर सुबोध कुमार का तबादला, भीड़ ने ले ली जान
दिसंबर में वाहन चोरों से हुई मुठभेड़ में गोली लगने से सुबोध कुमार घायल भी हुए थे। उन्होंने 27 जुलाई 2107 से 1 अगस्त 2018 तक 9 महीने तक अपनी सेवाएं वृंदावन में दीं और इसके बाद बुलंदशहर के स्याना थाने में स्थानांतरित हो गए थे।