फिरोजाबाद। नगर निकाय चुनाव के लिए राजनीतिक दलों के लिए मेयर सहित अनारक्षित सीट पर प्रत्याशी का चयन करना किसी बड़ी चुनौती से कम नहीं होगा। मेयर पद के लिए नए-नए दावेदार सामने आना शुरू हो गए हैं। टिकट के दावेदारों के रूप में इनके नाम सोशल मीडिया पर उछलते रहे।
शासन ने सोमवार को फिरोजाबाद नगर निगम के मेयर सहित जिले की तीन पालिकाओं के साथ-साथ चार नगर पंचायतों के अध्यक्ष पद के आरक्षण को भी जारी कर दिया। मेयर की सीट अनारिक्षत होने पर भाजपा के साथ-साथ सपा एवं बसपा जैसे राजनीतिक दलों में मेयर का चुनाव लड़ने के लिए नए-नए दावेदारों के नाम सामने आने लगे हैं। एक कान्वेंट स्कूल के संचालक का नाम मंगलवार की सुबह से चर्चा में आया वह सत्ताधारी दल भाजपा के साथ-साथ विपक्षी दल सपा या फिर बसपा से भी टिकट मिला तो पीछे नहीं हटेंगे। एक प्रमुख उद्यमी का भी नाम चर्चाओं के बीच तैरता रहा।
भाजपा से लंबे अर्से से जुड़े जिले के पार्टी के वरिष्ठ नेता के नाम की चरचा है लेकिन उन्हीं की पार्टी के लोगों का कहना है कि परिवारवाद तो नहीं चल सकता। भाजयुमो के पूर्व पदाधिकारी के नाम की चरचा रही। इसके अलावा एससी वर्ग के लिए आरक्षित होने पर दावेदारी करने वालों ने चुप्पी साध ली है। सपा की ओर से एक उद्यमी की दावेदारी की है तो अन्य दावेदार पीछे हो गए।
इन दलों में भी हलचल बढ़ी
बसपा एवं कांग्रेस की टिकट हासिल करने की कवायद शुरू कर दी। इसके अलावा आम आदमी पार्टी, एआईएमआईएम के साथ-साथ अन्य दलों के दावेदारों की सक्रियता बढ़ी है।
मुस्लिम वोट बैंक पर नजर
शहर में मुस्लिमों की आबादी अच्छी खासी है। सपा, बसपा और कांग्रेस मुस्लिम वोट बैंक को ध्यान में रखकर रणनीति तैयार कर रहे हैं।