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लोकसभा में लंबी बहस के बाद तीन तलाक बिल पास हो गया। बिना किसी संशोधन के इस बिल को पास करना मोदी सरकार के लिए ऐतिहासिक फतह रही। बिल पास होते ही मुस्लिम महिलाओं के चेहरे खिल उठे। बिल का विरोध करने वालों में सबसे पहले असदुद्दीन औवेसी रहे। उन्होंने बिल में तीन संशोधन का प्रस्ताव रखा। जिसे सिरे से नकार दिया गया। ध्वनिमत के साथ इस बिल को सदन में पास करवा लिया गया। इस बिल में तीन तलाक देने पर तीन साल तक की जेल का प्रावधान है। साथ ही तीन तलाक देने पर हर्जाना भी देना होगा।