इमरान खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान सरकार ने हाल ही में अपनी आतंकी निगरानी सूची से लगभग 4,000 नामों को हटा दिया है। ऐसा उसने न केवल घर में बल्कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में भी अपने आतंकी रिकॉर्ड को साफ करने की एक पहल के तहत किया है। एक सूत्र का कहना है कि आधे आतंकियों के नाम हटाकर पाकिस्तान उनकी संपत्तियों को जब्त होने से बचाने की कोशिश कर रहा है।
पाकिस्तान ने यूएनएससी निगरानी समिति की एक विजिटिंग टीम को बताया है कि वह उसकी प्रतिबंध सूची में सूचीबद्ध कई व्यक्तियों के खिलाफ कार्रवाई करने में असमर्थ है क्योंकि संयुक्त राष्ट्र के पैनल ने उसे अपर्याप्त जानकारी दी है। यूएनएससी 1267 की प्रतिबंध सूची में पाकिस्तान के 130 आतंकियों के नाम शामिल हैं।
हालांकि पाकिस्तान ने सूची में से केवल 19 लोगों के अपने यहां मौजूद होने की बात स्वीकारी है जिसमें लश्कर-ए-तैयबा का सरगना हाफिज सईद शामिल है। पाकिस्तान पहले ही 2013 के संयुक्त राष्ट्र के रिकॉर्ड में वर्णित आतंकी समूह लश्कर-ए-झांगवी के मुख्य परिचालन कमांडर मतीउर रहमान सहित छह आतंकवादियों के नाम हटाने के लिए यूएनएससी से कह चुका है। यह जानकारी भारतीय प्रतिष्ठान के एक शीर्ष अधिकारी ने दी।
संयुक्त राष्ट्र की विश्लेषणात्मक सहायता और प्रतिबंधों की निगरानी करने वाली टीम नौ से 13 मार्च को पांच दिनों की यात्रा पर पाकिस्तान पहुंची थी। जिसे उसने बताया कि संयुक्त राष्ट्र की प्रतिबंध सूची में आतंकी संबंधों वाले व्यक्तियों की जन्म तिथि, राष्ट्रीयता, राष्ट्रीय आईडी नंबर, पासपोर्ट संख्या या विशिष्ट पता नहीं है। इसलिए वह कार्रवाई नहीं कर पाया।
पाकिस्तान से जब घरेलू आतंकी निगरानी सूची से 1,800 नामों को हटाने के बारे में पूछा गया तब भी उसने इसी तरह का स्पष्टीकरण दिया था। अक्तूबर 2018 में पाकिस्तान ने इस सूची को आतंकवाद निरोधक निगरानी प्रहरी वित्तिय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) को दिखाया था और कहा था कि वह आतंकियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगा। एफएटीएफ के रिकॉर्ड के अनुसार इस आतंकी निगरानी सूची में 7,600 आतंकियों के नाम थे।
इमरान खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान सरकार ने हाल ही में अपनी आतंकी निगरानी सूची से लगभग 4,000 नामों को हटा दिया है। ऐसा उसने न केवल घर में बल्कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में भी अपने आतंकी रिकॉर्ड को साफ करने की एक पहल के तहत किया है। एक सूत्र का कहना है कि आधे आतंकियों के नाम हटाकर पाकिस्तान उनकी संपत्तियों को जब्त होने से बचाने की कोशिश कर रहा है।
पाकिस्तान ने यूएनएससी निगरानी समिति की एक विजिटिंग टीम को बताया है कि वह उसकी प्रतिबंध सूची में सूचीबद्ध कई व्यक्तियों के खिलाफ कार्रवाई करने में असमर्थ है क्योंकि संयुक्त राष्ट्र के पैनल ने उसे अपर्याप्त जानकारी दी है। यूएनएससी 1267 की प्रतिबंध सूची में पाकिस्तान के 130 आतंकियों के नाम शामिल हैं।
हालांकि पाकिस्तान ने सूची में से केवल 19 लोगों के अपने यहां मौजूद होने की बात स्वीकारी है जिसमें लश्कर-ए-तैयबा का सरगना हाफिज सईद शामिल है। पाकिस्तान पहले ही 2013 के संयुक्त राष्ट्र के रिकॉर्ड में वर्णित आतंकी समूह लश्कर-ए-झांगवी के मुख्य परिचालन कमांडर मतीउर रहमान सहित छह आतंकवादियों के नाम हटाने के लिए यूएनएससी से कह चुका है। यह जानकारी भारतीय प्रतिष्ठान के एक शीर्ष अधिकारी ने दी।
संयुक्त राष्ट्र की विश्लेषणात्मक सहायता और प्रतिबंधों की निगरानी करने वाली टीम नौ से 13 मार्च को पांच दिनों की यात्रा पर पाकिस्तान पहुंची थी। जिसे उसने बताया कि संयुक्त राष्ट्र की प्रतिबंध सूची में आतंकी संबंधों वाले व्यक्तियों की जन्म तिथि, राष्ट्रीयता, राष्ट्रीय आईडी नंबर, पासपोर्ट संख्या या विशिष्ट पता नहीं है। इसलिए वह कार्रवाई नहीं कर पाया।
पाकिस्तान से जब घरेलू आतंकी निगरानी सूची से 1,800 नामों को हटाने के बारे में पूछा गया तब भी उसने इसी तरह का स्पष्टीकरण दिया था। अक्तूबर 2018 में पाकिस्तान ने इस सूची को आतंकवाद निरोधक निगरानी प्रहरी वित्तिय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) को दिखाया था और कहा था कि वह आतंकियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगा। एफएटीएफ के रिकॉर्ड के अनुसार इस आतंकी निगरानी सूची में 7,600 आतंकियों के नाम थे।